अमेरिका के पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप को चुनाव से पहले मानहानि मामले में बड़ा झटका लगा है।
ट्रंप को जुर्माने के तौर पर लेखिका ई जीन कैरोल को 83.3 मिलियन डॉलर (करीब 7 अरब रुपये) देने होंगे। पूर्व राष्ट्रपति के खिलाफ मानहानि के मुकदमे में न्यूयॉर्क सिटी जूरी ने शुक्रवार को यह फैसला सुनाया।
जूरी ने अपने फैसले में कहा कि ट्रंप को कैरोल को उनकी प्रतिष्ठा को नुकसान पहुंचाने के बदले यह रकम देनी होगी।
इससे पहले ट्रंप अंतिम बहस के दौरान उस वक्त अदालत कक्ष से उठकर बाहर चले गए, जब लेखिका कैरोल के वकील ने निर्णायक मंडल से उनकी मुवक्किल को कम से कम 1.2 करोड़ डॉलर का हर्जाना दिलाए जाने की अपील की।
कैरोल के वकील ने कहा कि ट्रंप ने अपने सार्वजनिक बयानों के माध्यम से उन्हें झूठा करार दिया। कैरोल के प्रति नफरत पैदा की, जिससे उनके सम्मान को हानि पहुंची है।
मैनहटन संघीय अदालत में वकील रोबर्टा कपलान ने अपनी अंतिम दलीलें शुरू कीं। इसके कुछ ही मिनटों बाद ट्रंप अचानक बचाव पक्ष की तरफ की अपनी सीट से उठे और बाहर की ओर जाने लगे। वह खचाखच भरे अदालत कक्ष को देखने के लिए एक पल रुके और इसी दौरान खुफिया विभाग के सदस्य उनके पीछे की ओर जाने लगे।
बहस के बीच कोर्ट से बाहर चले गए ट्रंप
पूर्व राष्ट्रपति के अचानक चले जाने से जस्टिस लुईस ए कपलान को जिरह के बीच दखल देने के लिए मजबूर होना पड़ा। उन्होंने कहा कि रिकॉर्ड में दिखाया जाएगा कि ट्रंप उठे और अदालत से बाहर चले गए।
ट्रंप के बाहर जाने से कुछ ही वक्त पहले जूरी की अनुपस्थिति में न्यायाधीश ने ट्रंप की अधिवक्ता अलीना हब्बा को चेताया था।
उन्होंने कहा कि दलीलें पूरी करने के बावजूद बार-बार टोकने पर वह उन्हें जेल भेज देंगी। जस्टिस ने हब्बा से कहा कि आप जेल में कुछ समय बिताने के कगार पर हैं। अब बैठ जाइए।
लेखिका ने लगाया था रेप का आरोप
कैरोल ने ‘एले’ पत्रिका के लिए एक लंबे समय तक कॉलम लिखा। उन्होंने 2019 में छपी किताब में पहली बार आरोप लगाया था कि ट्रंप ने 1995 के अंत में या 1996 की शुरुआत में उनका बलात्कार किया था।
यह घटना मैनहट्टन के एक लक्जरी डिपार्टमेंटल स्टोर के ड्रेसिंग रूम में हुई थी। ट्रंप ने इन आरोपों के जवाब में कहा था कि ऐसा कभी नहीं हो सकता था क्योंकि कैरोल मेरे टाइप की नहीं हैं।
इसके बाद कैरोल ने ट्रंप के खिलाफ मानहानि का मामला भी दायर किया था। इससे पहले कानून के तहत कैरोल को घटना को हुए कई वर्ष बीत जाने के कारण ट्रंप के खिलाफ बलात्कार का मुकदमा दायर करने से रोक दिया गया था।